Farmers Protest: किसान आंदोलन के कारण कई महीनों से बंद पड़े शंभू बोर्डर सहित अन्य हाईवे को खोलने के लिए सुप्रीम कोर्ट में दाखिल हुई एक याचिका को कोर्ट ने कड़ी फटकार लगाते हुए खारिज कर दिया। सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि इस तरह के मामले पहले ही कोर्ट में चल रहे हैं, फिर बार-बार क्यों ऐसी याचिका दाखिल की जा रही हैं। इस तरह से याचिका दाखिल करने से ऐसा लगता है कि यहां कोई व्यक्ति सिर्फ लोक दिखावे के लिए और प्रचार के लिए मुकदमे करने के लिए आया है।
सुप्रीम कोर्ट ने शंभू बॉर्डर खोलने की मांग वाली याचिका को खारिज कर दिया है और याचिकाकर्ताओं को फटकार लगाते हुए कहा कि वे यह मामला केवल लोगों को दिखाने के लिए अदालत में लेकर आए हैं। यह याचिका उस संदर्भ में थी, जिसमें किसान आंदोलन के दौरान बॉर्डर बंद होने से आम जनता को हो रही समस्याओं का हवाला दिया गया था।
सुप्रीम कोर्ट ने इस याचिका पर विचार करने से इनकार करते हुए स्पष्ट किया कि यह मामला प्रशासनिक और बातचीत से हल करने का है। इसके साथ ही किसानों ने यह भी ऐलान किया है कि वे दिल्ली कूच करने की योजना को रद्द कर रहे हैं।
इस फैसले से यह संदेश जाता है कि कोर्ट ऐसे मामलों को केवल दिखावे के लिए नहीं सुनेगी और सभी पक्षों को अपनी जिम्मेदारी से मसलों का समाधान करना होगा।
1.सुप्रीम कोर्ट ने याचिका खारिज की
सुप्रीम कोर्ट ने शंभू बॉर्डर खोलने की मांग वाली याचिका पर सुनवाई से इनकार कर दिया।
2. याचिकाकर्ताओं को अदालत की फटकार
कोर्ट ने कहा कि याचिका केवल दिखावा करने के लिए दायर की गई है।
3. प्रशासनिक समाधान की सलाह
सुप्रीम कोर्ट ने सुझाव दिया कि इस मुद्दे को बातचीत और प्रशासनिक स्तर पर सुलझाया जाना चाहिए।
4. दिल्ली कूच का ऐलान वापस
किसानों ने स्पष्ट किया कि वे अब दिल्ली कूच नहीं करेंगे।
5. आम जनता के लिए राहत का मुद्दा
याचिका में जनता को हो रही असुविधा का जिक्र किया गया, लेकिन कोर्ट ने इसे न्यायिक मामला मानने से इनकार किया।
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