अंबेडकरनगर में दुर्गा प्रतिमाओं का विसर्जन बुधवार देर शाम शुरू हुआ और गुरुवार सुबह तक शांतिपूर्ण ढंग से संपन्न हो गया. देर शाम पूजा के बाद जिला मुख्यालय शहर में प्रतिमाओं की शोभा यात्रा निकाली गयी और मां को विदाई दी गयी. अँधेरे में मूर्तियाँ बह गईं। जिले के विभिन्न स्थानों पर मां दुर्गा के करीब 1500 पंडाल स्थापित किये गये थे, जिनका विसर्जन विभिन्न स्थानों पर किया गया. दुर्गा प्रतिमा विसर्जन के मद्देनजर सुरक्षा के कड़े इंतजाम किये गये थे.
करीब 1500 दुर्गा प्रतिमाओं का विसर्जन किया गया
जिला मुख्यालय समेत जिले के विभिन्न स्थानों व ग्रामीण इलाकों में करीब 1500 मां दुर्गा की प्रतिमा स्थापित की गयी थी. अकबरपुर नगर के डॉ. जीके जेटली इंटर कॉलेज के मैदान में एकत्र 150 से अधिक प्रतिमाओं का विसर्जन किया गया। जिले के विभिन्न स्थानों पर तमसा, सरयू, मरहा, विसुई व मझुई नदी में दुर्गा प्रतिमाओं का विसर्जन किया गया। इसके साथ ही बसखारी कार को छोड़कर पूरे जिले में वार्षिक दुर्गा पूजा महोत्सव का समापन हो गया।
मुख्यालय स्थित अकबरपुर शहर में मां जगत जननी की प्रतिमाओं के विसर्जन का कार्यक्रम आकर्षण का केंद्र रहा. मां जगत जननी की प्रतिमाएं जेटली इंटर कॉलेज के सामने से विसर्जन स्थल के लिए रवाना हुईं। सदर एसडीएम, सीओ सिटी, अकबरपुर कोतवाल, बाबा राम शब्द यादव, ललित श्रीवास्तव आदि ने पूजा-अर्चना कर जुलूस का शुभारंभ किया।
जुलूस में प्रतिमाओं के सामने डीजे की धुन पर समिति के सदस्य नाच रहे थे। जुलूस संघटिया तिराहा से चौक शहजादपुर, फव्वारा तिराहा, पुरानी तहसील तिराहा होते हुए विसर्जन स्थल मंदिर के बगल तमसा नदी तट पर पहुंचा।
लोगों ने फूल बरसाये, भीड़ उमड़ पड़ी
विसर्जन जुलूस को देखने के लिए शहर की सड़कों पर श्रद्धालुओं की भारी भीड़ उमड़ पड़ी. तमसा पुल और सड़क की दोनों पटरियों पर श्रद्धालुओं की भीड़ उमड़ पड़ी। विसर्जन को सुरक्षित संपन्न कराने के लिए प्रशासन ने सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किये थे.
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